HOW TO IMPROVE COMMUNICATION SKILLS

संचार एक प्रतिभा है, और सभी प्रतिभाओं की तरह आप अभ्यास के माध्यम से इसे बेहतर बना सकते हैं,आजकल के युग में संचार कौशल बहुत ही महत्वपूर्ण कौशल है, आपके  दैनिक जीवन के साथ साथ संचार कौशल आपके पेशेवर जिंदगी में बहुत महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।अगर आप किसी से अच्छी तरह से संचार यानी कि बातचीत नहीं कर पाते हैं तो उसकी नजरों में आपका अच्छा प्रभाव नहीं पड़ता है।


पेशेवर जिंदगी और कार्यस्थल में सफल होने में संचार बहुत बड़ी भूमिका निभाता है एक कुशल संचार बताता है कि हर कोई अपनी जिम्मेदारी और कर्तव्य को समझता है कि नहीं। प्रभावी संचार कर्मचारियों से अच्छा संबंध बनाने में मदद करता है और कर्मचारियों के साथ अच्छा रिश्ता होना उच्च प्रदर्शन को बढ़ावा देता है।


प्रभावी संचार के हमारे जीवन में बहुत फायदे हैं जैसे कि

1. कार्य संतुष्टि में वृद्धि

2. एक दूसरे से बेहतर रिश्ता होने में मदद करता है।

3. नए लोगों से जुड़ना, नए लोगों से मिलना उनको समझने में मदद करता है।

4. प्रभावी संचार हमारी समस्याओं को सुलझाता है।

5. संचार एक दूसरे के लिए एक दूसरे के मन में विश्वास बनाता है।

6. संचार हमें उत्पादक बनाता है। नई नई चीजों के बारे में जानना, नई नई चीजों के बारे में बात करना एक कुशल संचार के द्वारा ही किया जा सकता है।


तो चलिए दोस्तों अब हम आपको बताएंगे कि आप अपनी संचार प्रतिभा को कैसे सुधार सकते हैं उसे बेहतर बना सकते हैं। और कैसे इस प्रतिभा में सकुशल हो सकते हैं।

1.Be a Good Listener

जैसा कि हमारे बड़े बुजुर्ग कहते थे कि बोलने से पहले सुनना सीखो और यह बात अभी भी लागू होती है। एक कुशल संचार करने के लिए आपको सामने वाले की बात को सुनना और समझना बहुत जरूरी है। बातचीत के दौरान चुप रहना बहुत अजीब लगता है लेकिन जब तक आप बोलने के लिए संपूर्ण तरीके से तैयार नहीं है तब तक ना बोलें आप जो बोलने वाले हैं उसके बारे में सोचें कि आप जो बोल रहे हैं वह सच है कि नहीं या आपका बोलना ठीक है कि नहीं। कभी-कभी लोग बातचीत के दौरान अपनी पर्सनल बातों को बोल देते हैं यह सामने वाले के ऊपर बहुत गलत प्रभाव डालता है कि आप कभी भी कुछ भी किसी के सामने भी बोल देते हो। इसलिए एक बातचीत के दौरान पहले सुनना फिर बोलना बहुत महत्वपूर्ण होता है इससे आप सामने वाले की बातों को समझ सकते हैं और फिर समझ कर उनका जवाब दे सकते हैं इससे आप समझदार कहलाते हैं। अगर सामने वाला आपको गलत बात बता रहा है या आपको उसकी बात गलत लगती है तो आपको सही बात कहने के लिए बिल्कुल नहीं सोचना चाहिए उसको वही रोक कर अपनी बात को रखना चाहिए इस तरीके से एक बेहतर एक कुशल संचार होता है।

2.Body Language

कम्युनिकेशन के दौरान बॉडी लैंग्वेज का ठीक होना बहुत जरूरी है क्योंकि बॉडी लैंग्वेज ही दर्शाता है कि आप को सामने वाले की बात में कितनी रूचि है, आप उसकी बात को कितना समझ रहे हो यह आपकी बॉडी लैंग्वेज ही दर्शाती है अगर आप बातचीत के दौरान इधर उधर देखते हो अपने हाथ पैरों को हिलाते हो या फिर बेमतलब कुछ इशारे करते हो या फिर बेमतलब हंसते हो तो यह दर्शाता है कि आप उसकी बात को ना सुनना चाह रहे हैं और ना समझना चाह रहे हैं। ऐसा करना सामने वाले को गुस्सा दिला सकता है या फिर वह बोल सकता है कि मुझे आपसे बात नहीं करनी इससे आपके उस इंसान के साथ रिश्ते खराब हो सकते हैं आपके संबंध टूट सकते हैं। बॉडी लैंग्वेज एक कुशल संचार में बहुत महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। संचार के दौरान अगर आप झुक कर खड़े हैं या फिर एक अजीब तरीके से व्यवहार कर रहे हैं तो यह आपके संचार को बिगाड़ने का काम करता है। संचार के दौरान आपको एक अच्छी तरीके से खड़े रहना है, आंख से आंख मिलाकर बात करनी है, संचार के दौरान आपको किसी को छूने की जरूरत नहीं है, और ना ही आपको अपने हाथ पैरों को हिलाना है, आपको एक शांत तरीके से बोलना है, सामने वाले से किसी भी प्रकार की बहस नहीं करनी है और ना ही बेवजह हंसना है इस तरीके से आप अपने संचार को कुशल बना सकते हैं।

3.Think Before You Speak

आपने अक्सर ही सुना होगा लोगों को एक दूसरे से कहते हुए कि तुम्हें बोलने से पहले सोचना चाहिए। इसका मतलब है कि लोग बिना सोचे समझे कुछ भी एक दूसरे को बोल देते हैं जो कि उन्हें नहीं बोलना चाहिए। दोस्तों हम जब भी किसी से बात करते हैं तो हमें अपने शब्दों पर नियंत्रण रखना चाहिए क्योंकि अगर हम किसी से कुछ बुरा बोल देते हैं तो क्या पता उस इंसान को कितना बुरा लग जाए और वह हमसे नाराज हो जाए या हमसे बात ना करें। हमारे मां बाप बड़े बुजुर्ग सब हमें बताते हैं कि हमें बोलने से पहले सोचना चाहिए हम जो भी सामने वाले को बोल रहे हैं उससे पहले हमें एक बार सोच लेना चाहिए कि जो हम उससे बोल रहे हैं वह सही है या गलत है या हमारे शब्दों से उस इंसान के ऊपर कुछ गलत प्रभाव तो नहीं पड़ेगा। ऐसा करना एक प्रभावी संचार का रूप होता है कि आप किसी से बात करने से पहले उस बात के बारे में सोचें, आप की बात से सामने वाले को बुरा ना लगे ऐसा करना एक प्रभावी संचार का रूप होता है।

पेशेवर जिंदगी में अगर हम बातचीत या किसी मीटिंग के दौरान किसी से कुछ गलत बिना सोचे बोल दे तो इससे हमारी नौकरी पर प्रभाव पड़ सकता है और भविष्य में शायद हमें हमारे इस व्यवहार की वजह से कोई और नौकरी भी ना दें। पेशेवर जिंदगी में तो सोच समझकर बोलना बहुत ही ज्यादा महत्वपूर्ण होता है जगह-जगह पर हमें बातचीत करनी होती हैं संचार करना होता है मीटिंग्स करनी होती हैं इसके इन सब के दौरान हमें अपने शब्दों पर नियंत्रण रखना बहुत जरूरी होता है।

शब्दों पर नियंत्रण रखना यानी की सोच समझकर बोलना या बोलने से पहले सोचना कि हम बोलने क्या वाले हैं एक प्रभावी संचार करने में बहुत ही ज्यादा महत्वपूर्ण होता है।

4.Maintain A Positive Attitude And Smile

सकारात्मक दृष्टिकोण हमें एक विश्वास दिलाता है। और सकारात्मक दृष्टिकोण से हमारी बातों में, हमारे शब्दों में विश्वास आता है कि हम सही बोल रहे हैं और एक सही पक्ष में बोल रहे हैं। सकारात्मक दृष्टिकोण हमारे दिमाग से नकारात्मक विचारों को बाहर करता है और हमें सकारात्मक विचारों को बोलने के लिए प्रेरित करता है और हम सकारात्मक तरीके से अपनी बात को दूसरे व्यक्ति को समझा सकते हैं और उसे विश्वास दिला सकते हैं कि हम जो बोल रहे हैं वह शत प्रतिशत सही है। सकारात्मक दृष्टिकोण संचार सकुशल करने में बहुत महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है अगर आप किसी से बातचीत के दौरान नकारात्मक बात करेंगे तो सामने वाला इंसान आपसे बात करने में रुचि नहीं रखेगा और ना ही आपकी बात को ध्यान देगा बल्कि वह आपसे मना कर सकता है कि आप मुझसे बात ना करें इससे आपके उस इंसान के साथ संबंध खराब हो सकते हैं।

सकारात्मक सोच के साथ आप अपनी भावनाओं पर कंट्रोल कर सकते हैं जिससे कि हमारा दिमाग कोई भी फैसला करने में सक्षम रहे और चुनौतीपूर्ण परिस्थितियों में सही निर्णय ले सके। सकारात्मक दृष्टिकोण हमें अपनी बात को सामने वाले इंसान को विश्वास दिलाने में मदद करता है।

डेली आप मोटिवेशनल, इंस्पिरेशनल कोट्स,गाने सुनकर अपने आप को सकारात्मक दृष्टिकोण दे सकते हैं और अपने दिमाग को सकारात्मक सोचने पर मजबूर कर सकते हैं। ऐसा करने से आपके दिमाग में से नकारात्मक विचार बाहर निकलने लगेंगे और आप एक सकारात्मक सोच की ओर आगे बढ़ेंगे।

आप किसी से भी बात करते समय अगर बेवजह हसेंगे तो वह आपको एक मजाकिया किस्म का इंसान समझेगा और आपकी बात को सीरियस नहीं लेगा अगर आप बेवजह हंस रहे हैं, बात बात पर हंस रहे हैं तो सामने वाला इंसान आपकी बात को नहीं सुनेगा और आपसे बात करने में इच्छुक नहीं रहेगा। एक संचार के दौरान एक इंसान को सिर्फ वही हंसना चाहिए जहां पर उसकी हंसी का महत्व हो और हंसने की जरूरत हो। जब आप किसी से बात करते हैं तो आपको एकदम खिलखिला कर ज्यादा नहीं हंसना होता एक छोटी सी हंसी हंसना होता है ना कि आप जोर से ठहाके मार कर हंसे इससे सामने वाले इंसान पर आपका गलत प्रभाव पड़ता है और वह आपसे बात करने में इच्छुक नहीं होता।

सकारात्मक दृष्टिकोण और हंसी हमारे संचार को एक प्रभावी संचार बनाने में बहुत बड़ी भूमिका निभाते हैं। संचार करते समय हमें इन सब बातों का ध्यान रखना चाहिए।

5.Treat Everyone Equally

जब आप एक ग्रुप में बात कर रहे हैं या आप किसी मीटिंग में है तो आपको आपके साथ जितने भी लोग हैं आपसे बात कर रहे हैं तो आपको सब को सुनना है आपको सबकी बात पर ध्यान देना है और उनकी बात को समझना है ऐसा नहीं करना कि सिर्फ एक की बात सुनी और उसको जवाब दे दिया और बाकी के लोगों की बात नहीं सुनी ऐसा करने से एक प्रभावी संचार नहीं हो पाता हमें अगर हम किसी ग्रुप में बात कर रहे हैं तो हमें सब लोगों की बात सुननी चाहिए और अपनी राय देनी चाहिए यानी कि हमें संचार या मीटिंग के दौरान सबको बराबर महत्व देना चाहिए हमें सब की बातों को बराबर महत्व देना चाहिए चाहे कोई कम बोल रहा हो या ज्यादा बोल रहा हों हमें सब की बात सुननी है और अपना तर्क देना है कि वह सही बोल रहे हैं या गलत बोल रहे हैं ऐसा करने से एक प्रभावी संचार और कुशल संचार होता है।

जब तक आप एक ग्रुप में सभी इंसानों को बराबर महत्व नहीं देंगे तब तक सब लोग आपकी बात को ना सुनेंगे और ना ही आपकी बात पर ध्यान देंगे अगर आप सब की बात पर ध्यान देंगे सब की बात को सुनेंगे अपनी राय देंगे तो सब आपकी बात सुनने में इच्छुक होंगे इसलिए संचार को कुशल संचार बनाने के लिए हमें सब लोगों को बराबर महत्व देना होता है। ताकि वह भी हमें महत्व दें और हमारी बात को समझे। सबको बराबर महत्व देने से एक दूसरे के लिए इज्जत बढ़ती है और संबंध मजबूत होते हैं और कार्य संतुष्टि में वृद्धि होती है।

6.Ask Questions

संचार के दौरान सवाल पूछना.

सवाल पूछना यह दर्शाता है कि आप एक संचार में कितना उपस्थित हैं आप कितने ध्यान से सामने वाले की बातों को सुन रहे हैं समझ रहे हैं इसके बाद जब आप उसे सवाल पूछते हैं तो सामने वाला इंसान समझ जाता है कि इसने मेरी बात समझी है जानने की कोशिश की है तभी वह हमसे सवाल जवाब कर रहा है। सवाल जवाब करना एक संचार में आप कितने उपस्थित हैं यह दर्शाता है।

संचार के दौरान सवाल पूछना हमारे ज्ञान को भी बढ़ाता है अगर हम किसी चीज को नहीं समझ पाते तो हमें समझने का दूसरा मौका मिलता है सवाल-जवाब के द्वारा।

अगर हम किसी से संचार के द्वारा सवाल पूछ रहे हैं तो हमें एक अच्छे ढंग से सवाल पूछना आना चाहिए हमें सवाल तभी पूछना चाहिए जब सामने वाले इंसान की बात खत्म हो जाए तो हमें उससे पूछना चाहिए क्या मैं आपसे कुछ पूछ सकता हूं तब आप अपना सवाल उससे पूछ सकते हैं। ऐसा करने से वह इंसान भी समझेगा कि हां आप उसकी बात पर ध्यान दे रहे हैं और वह आपसे प्रसन्न होगा कि आप उससे अच्छा संचार कर रहे हैं और उसका सहयोग दे रहे हैं।

7.Practise Public Speaking

एक अच्छे और कुशल संचार के लिए हमें लोगों के सामने बोलना आना चाहिए अमूमन देखा जाता है कि एक इंसान जब 10 से 15 लोगों के सामने खड़ा होता है तो वह अच्छे से नहीं बोल पाता घबराना, शब्दों का फेर ऐसी बहुत सारी दिक्कतें एक इंसान को पब्लिक स्पीकिंग मे आती हैं।

और लोग इसी वजह से संचार करना बंद कर देते हैं और दुनिया से अलग होने की सोचते हैं जबकि उन्हें अपने संचार प्रतिभा को निखार ना चाहिए पब्लिक स्पीकिंग के लिए आप आईने के सामने बोल कर अपनी संचार का अभ्यास कर सकते हैं अपने दोस्तों के सामने बैठकर पब्लिक स्पीकिंग की तैयारी कर सकते हैं और आप अपने भाई बहन के साथ भी प्रैक्टिस कर सकते हैं उनको सामने बिठा कर आप अपनी स्पीच बोल सकते हैं। जिससे कि आपके मन का डर और आपके शब्दों का घूमना या फिर शब्दों को भूल जाना इन सभी प्रॉब्लम से आप धीरे-धीरे बाहर आ सकते हैं और अपने संचार को सुधार सकते हैं।


इन सब तरीकों में से आईने के सामने बोलना बहुत ही कारगर साबित होता है आप अपनी स्पीच को या आप जो कुछ भी बोलने वाले हैं उसको एक पेज पर लिखकर आईने के सामने अभ्यास कर सकते हैं इससे आपके मन का डर बाहर निकलेगा आपके बोलने के तरीके में सुधार होगा और आप अच्छे तरीके से शब्दों को बोल पाएंगे। और देखते ही देखते धीरे-धीरे आपकी लोगों के सामने बोलने का डर मन से निकल जाएगा और आप 10-15 क्या 500 या 1000 लोगों के सामने आराम से बोल पाएंगे। एक कुशल संचार प्रतिभा के लिए आप पब्लिक स्पीकिंग प्रैक्टिस जरूर करें।

8.Improve Written Communication

अगर आप अपने संचार प्रतिभा को सुधार रहे हैं तो आप जो भी बोलना चाहते हैं उसे लिखकर बोलना और फिर उसे पढ़ना सबसे ज्यादा कारागार साबित होता है मतलब की पहले हमें हमारी लिखित कम्युनिकेशन सुधारने होगी तभी हम अपने संचार प्रतिभा को सुधार पाएंगे। क्योंकि पहले हम जो भी बोलने वाले हैं उसे किसी कागज पर लिख ले अच्छी तरीके से जिस भी तरीके से हमें बोलना पहले उस तरीके से हमें उन शब्दों को एक पेज पर लिखना होगा फिर उससे पढ़ पढ़ कर हमें अभ्यास करना है बोलने का इसी तरीके से हमारी संचार प्रतिभा निखरेगी।

HOW TO IMPROVE COMMUNICATION SKILLS



अपनी लिखित संचार को सुधारने के लिए हमें कुछ कुछ चीजों को ध्यान रखना चाहिए जैसे कि

1.Write Easy

हम जो भी लिख रहे हैं वह पढ़ने में आसान हो मतलब हम उसे आसान तरीके से लिखें ताकि हम उसे अच्छी तरीके से पढ़ सकें और समझ सके जिससे कि हमें उसे बोलने में कोई दिक्कत ना आए।

2.Write Everyday

आपको थोड़ा-थोड़ा हर दिन लिखना है ताकि आप इस लिखने की प्रक्रिया से परेशान ना हो और धीरे-धीरे आपका लिखने में विकास भी होता रहे तो आप 100 से 200 शब्द डेली लिखने का अभ्यास करें और उसे लगातार बढ़ाते रहें शुरुआत में आप 100 से 200 शब्द लिखें धीरे-धीरे से बढ़ाते रहें 500 से 1000 आए फिर 1000 से 2000 आए। इससे आपका लिखने में मन लगा रहेगा और आपकी लिखने की क्षमता भी बढ़ेगी।

3.Choose Language By Own Comfort

आपको जो भी भाषा अच्छे से समझ में आए आप उस भाषा में लिख सकते हैं अगर आपको इंग्लिश अच्छी समझ में आती है तो आप इंग्लिश में लिख सकते हैं अगर आपको हिंदी अच्छी समझ में आती है तो आप हिंदी में लिख सकते हैं ताकि आप उसे अच्छे से पढ़ कर समझ कर बोल सके तो भाषा आपको जो आपको अच्छी लगे और जिसे आप समझ पाए आप उसमें लिख सकते हैं।

4.Ask Help From Others Who Are Better In Writing

अगर आपका कोई मित्र या परिवार में से कोई सदस्य लिखने में अच्छा है तो आप उसकी मदद ले सकते हैं ताकि आप जो गलतियां कर रहे हैं वह सुधार सकें और आगे और अच्छा लिख सकें।

5.Review Your Writing

एक नियमित अंतराल के बाद आप अपने लिखित संचार को चेक कर सकते हैं और आपने जो पिछले कुछ दिनों में गलती की है उसे सुधार सकते हैं जैसे कि उदाहरण लीजिए कि आपने 10 दिन बाद अपने 10 दिन की लिखित प्रक्रिया देखी तो आपने उस 10 दिन की गलतियों को ठीक किया और आने वाले 10 दिन में आपने उन गलतियों को सुधार कर अच्छे से लिखा तो आप एक नियमित अंतराल में अपने लिखित प्रक्रिया को चेक करते रहें और गलतियों को सुधारते रहे हैं।

ऐसा करने से आपका लिखित संचार प्रतिभा बहुत अच्छी हो जाएगी।


तो दोस्तों आप इन 8 WAYS TO IMPROVE YOUR COMMUNICATION SKILLS से अपने संचार प्रतिभा को निखार सकते हैं आप धीरे-धीरे इन सब का अभ्यास करेंगे तो आप का संचार प्रतिभा बहुत अच्छे तरीके से निखरकर आएगी और आप अपने जीवन में और कार्यस्थल में एक नया मुकाम हासिल करेंगे।


दोस्तों आज हमने इस पोस्ट में बताया कि HOW TO IMPROVE COMMUNICATION SKILLS IN HINDI आप हमें कमेंट करके जरूर बताएं कि आपको हमारा पोस्ट कैसा लगा।

 

 

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